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अमिताव कुमार के 'माय बेलव्ड लाइफ' में प्रेम, हानि और सहनशक्ति

अमिताव कुमार के 'माय बेलव्ड लाइफ' में प्रेम, हानि और सहनशक्ति
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अमिताव कुमार के 'माय बेलव्ड लाइफ' में प्रेम, हानि और सहनशक्ति

| पहलू | विवरण | |--------------------------|-----------------------------------------------------------------------------------------------| | शीर्षक | माई बेलव्ड लाइफ (My Beloved Life) | | लेखक | अमिताव कुमार | | मुख्य पात्र | जदुनाथ जादू कुंवर और उनकी बेटी जुगनू | | स्थान | भारत (बिहार, पटना, दिल्ली) और अमेरिका | | समय काल | 1935 से वर्तमान तक | | मुख्य विषय | प्यार, हानि, लचीलापन, जाति, नस्लवाद, उपनिवेशवाद, राजनीतिक और सामाजिक परिवर्तन | | मुख्य घटनाएँ | भारत-विभाजन से पहले का युग, इंदिरा गांधी का आपातकाल, जुगनू का पत्रकारिता कैरियर, महामारी | | जादू की यात्रा | बिहार में जन्म, इतिहास के प्रोफेसर बनना, फुलब्राइट छात्रवृत्ति, विवाह और व्यक्तिगत विकास | | जुगनू की यात्रा | पत्रकारिता के लिए दिल्ली जाना, अमेरिका में सीएनएन के लिए काम करना, अपने पिता के जीवन का पुनर्मूल्यांकन | | कथन शैली | जादू के तीसरे व्यक्ति के दृष्टिकोण और जुगनू के प्रथम व्यक्ति के वर्णन के बीच बदलती है | | ऐतिहासिक संदर्भ | महात्मा गांधी का युग, भारत-विभाजन, आपातकाल और आधुनिक भारत पर प्रतिबिंब | | प्रकाशक | निर्दिष्ट नहीं | | महत्व | ऐतिहासिक और सामाजिक परिवर्तन के बीच सामान्य जीवन की खोज |

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